ब्राह्मणों को गाली देने वाले सहायक श्रमायुक्त निलम्बित, राज्यपाल के आदेश पर अपर मुख्य सचिव सुरेश चन्द्रा ने किया निलम्बित।
सहायक श्रमायुक्त मथुरा प्रभात कुमार को राज्यपाल के आदेश पर निलम्बित कर दिया गया है।
आपको बता दें कि सहायक श्रमायुक्त का एक ऑडियो सोशल मीडीया पर वायरल हो रहा था जिसमें प्रभात कुमार के द्वारा ब्राह्मणों के लिये भद्दी भद्दी गालियों का प्रयोग किया गया था। ऑडियो में सहायक श्रमायुक्त के द्वारा भृष्टाचार करने की बात भी की गयी थी। जिस पर जांच कमेंटी ने अपनी रिपोर्ट में प्रथम दृष्टया प्रभात कुमार को दोषी पाया। जातिगत र्दुभावना से प्रेरित टिप्पणी व भृष्टाचार मे संलिप्तता के आधार पर राज्यपाल महोदय के द्वारा उक्त अधिकारी को निलम्बित करने का आदेश दिया।
आदेश के अनुपालन में श्रमविभाग के अपर मुख्य सचिव सुरेश चन्द्रा ने आज दिंनांक 8 जुलाई को सहायक श्रमायुक्त प्रभात कुमार को निलम्बित कर दिया।
सहायक श्रमायुक्त के इस तरह के ऑडियों के वायरल होने पर ब्राहमण संगठनों में रोष था। ब्रज अधिकार संरक्षण समिती, श्रीमद भागवत आयोजन समिति व युवा ब्राहमण महासभा मथुरा के द्वारा कलेक्ट्रेट मथुरा पर विरोध प्रदर्शन किया गया व दोषी सहायक श्रमायुक्त के खिलाफ कडी कार्रवाही की मांग करते हुए सीओ सिटी मथुरा को प्राथमिकी दर्ज करने के लिये प्रार्थना पत्र दिया गया था । ब्राहमणों की नाराजगी व विरोध प्रदर्शनों को देखते हुए शासन प्रशासन के द्वारा इस मामले में तत्काल जांच बिठाई गयी। जांच में दोषी पाये जाने पर राज्यपाल के आदेश पर सहायक श्रमायुक्त मथुरा को तत्काल प्रभाव से निलम्बित करते हुए कानपुर कार्यालय से सम्बद्व करने के आदेश पारित कर दिये।
सहायक श्रमायुक्त के निलम्बन की कार्रवाही पर ब्रहामण संगठनों ने शासन के इस निर्णय की सराहना की है।
ब्रज अधिकार संरक्षण समिति के राष्टृीय अध्यक्ष सुधीर शुक्ला ने कहा कि सरकार पर ब्रह्मण संघठनों द्वारा लगातार आरोप लग रहे है कि यह सरकार ब्राह्मण विरोधी है अब उच्च अधिकारी के द्वारा खुलेआम भद्दी भद्दी गालियां व भ्रष्टाचार की बात करना कानून व्यवस्था की धज्जियां उड़ाना जैसा है, अब सरकार ने दबाब में आकर कार्यवाही की है, कार्यवाही का समर्थन करते है जाँच पूरी होने पर दंडात्मक कार्यवाही की अपेक्षा रखते है।
श्रीमद भागवत आयोजन समिति के अध्यक्ष अमित भारद्वाज ने कहा कि अधिकारी की मानसिकता समाज में द्वेष पैदा करने वाली थी। शासन द्वारा उचित निर्णय लिया है हम सभी ब्राहमण संगठन इसकी मुक्त कंठ से प्रषंसा करते है।
अखिल भारतीय ब्राहमण एकता परिषद के जिला अध्यक्ष जगदीश प्रसाद शर्मा ने कहा कि सहायक श्रमायुक्त का इस तरह का कृत्य एक जघन्यतम अपराध था। ऐसे अधिकारीयों को पद पर बने रहने का कोई अधिकार नही है। हमारे संगठन द्वारा दोषी सहायक श्रमायुक्त के खिलाफ कठोर कार्रवाही करने की मांग की गयी थी। राज्यपाल महोदय द्वारा की गयी कार्रवाह एक नजीर की तरह हमेशा याद की जायेगी ओर अन्य अधिकारीयों के लिये एक सबक होगी।